Menu
blogid : 4280 postid : 1201899

कुंवारों के सपने : हम भी शादीशुदा होते …

सौरभ द्विवेदी "स्वप्नप्रेमी"
सौरभ द्विवेदी "स्वप्नप्रेमी"
  • 27 Posts
  • 130 Comments

काश हम भी शादीशुदा होते
बना बनाया खाना और धुले धुलाये कपडे मिलते
मौज से कटती अपनी जिन्दगी
काश…
ऑफिस से लौटकर घर आते
फ़ौरन ही गर्मागर्म चाय ले आती
बड़े प्यार से हमें बिस्किट पकडाती
काश…
न होता जिंदगी में कोई गम
होता भी तो भूल जाते
उनके नर्म नर्म हाथ जब मेरे सर को सहलाते
काश…
यूँ न भटकना पड़ता क्षणिक सुख के लिए
हम भी घर में ही रोमांटिक हो गुनगुनाते
जिस तरह हम जल रहे हैं पड़ोसियों को जलाते
काश…
अपनी भी जिंदगी होती जन्नत
जब सिनेमा में रोमांटिक फिल्म देखने जाते
फिल्म के रोमांटिक सीन पर हम भी रोमांटियाते
काश…

इन्तजार कीजिये जल्द ही विवाहितों का दर्द भी पोस्ट करने वाला हूँ

    Post a comment

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *

    CAPTCHA
    Refresh