Menu
blogid : 7629 postid : 788180

क्या है इन ताबूतों का राज जो मृत व्यक्ति को स्वर्ग के द्वार तक ले जाती है

विभिन्न धर्मों में शवों को जलाने और दफनाने का रिवाज है. रोम की सभ्यता में शवों को इस उम्मीद से सुरक्षित रखा जाता था कि शायद वो फिर से जी उठेंगे. ऐसा नहीं है कि ये परंपरा एशिया में नहीं थी; दक्षिण एशिया के चीन, इंडोनेशिया और फिलीपींस में भी शवों को सुरक्षित रखा जाता था. परंतु, यहाँ शवों को सुरक्षित रखने के जो तरीके थे वो आपको हैरान कर देने के लिए काफी हैं……………..

coffin_black


चीन के सिचुआन प्रांत में बो समुदाय के लोग रहते थे. संख्या में कम होने के बावजूद उनका उस प्रांत पर जबरदस्त प्रभाव रहता था. इस समुदाय के लोग अपने परिजनों के मरने पर उनके शव को लिनेन के कपड़े में लपेट कर उसके साथ कुछ सामान रख देते थे. इसके बाद ये लकड़ी के एक टुकड़े से ताबूत बनाते थे जिसमें शव के साथ इन सामानों को रख दिया जाता था. पाँच सौ मीटर यानी करीब सोलह सौ चालीस फीट तक के ऊँचे इन ताबूतों को रस्सियों के सहारे पहाड़ों के ऊपरी हिस्सों पर लटका दिया जाता था. कभी-कभी ताबूतों को पहाड़ के अंदर किसी गुफा में भी रख दिया जाता था.

Read: हर रात नरभक्षियों के साथ क्यों गुजारता है ये परिवार

फिलीपींस के पहाड़ी प्रांत में एक नगर-निगम है जिसका नाम सागाडा है. वर्षों से इस शहर की एक परंपरा यहाँ आज भी कायम है. वैसे बीमार व्यक्ति जो विवाहित होते हैं और जिनके पोते-पोतियाँ हैं वो खुद ही अपना ताबूत बनाते हैं. अगर वह व्यक्ति शारीरिक रूप से कमजोर है या अपना ताबूत खुद नहीं बना सकता तो उसका निकटतम संबंधी उसके लिए लकड़ी का ताबूत तैयार करता है. किसी व्यक्ति के मर जाने पर उसके शव को ताबूत के अंदर डाला जाता है. उसके बाद उस ताबूत को पहाड़ की किसी गुफा में रख दिया जाता है या पहाड़ पर किसी बीम के सहारे लटका दिया जाता है.


hanging-coffins-three-gorges


इंडोनेशिया के टोराजा समुदाय के लोग मृत व्यक्ति की शवयात्रा में जाते हैं. वहाँ मृत्यु से संबंधित कई रस्मों को पूरा किया जाता है जिसमें से कुछ तो कई दिनों तक चलते हैं. किसी रईस व्यक्ति के मरने पर बड़े भोज का आयोजन किया जाता है जिसमें हजारों लोग शामिल होते हैं. मृत व्यक्ति के ताबूत को गुफाओं या चट्टानों के किनारे पर लटका कर रख दिया जाता है.


Read:  दस सालों से कमरे में बंद इस शख्सियत की क्या थी हकीकत, एक अविश्वसनीय सच


coffffiiiin



शवों को ताबूतों में डालने से पहले पारिवारिक रंगों से सुसज्जित वस्त्र पहनाएं जाते हैं. इन वस्त्रों पर ऐसी छपाई की जाती है जिससे परिवार की पहचान जुड़ी हो. इसके पीछे यह धारणा होती है कि अगले जन्म में उनके पूर्वजों द्वारा उसकी आत्मा की पहचान की जा सके. इससे जुड़ी एक मान्यता यह भी है कि वर्तमान और आने वाली पीढ़ियाँ इस ताबूत में बंद व्यक्ति की सफलताओं से आध्यात्मिक रूप से प्रेरित होती रहे. इससे जुड़ी एक मान्यता यह भी है कि ताबूतों को लटकाने से मृत व्यक्ति स्वर्ग के समीप पहुँच जाता है जहाँ से वो अपने परिवार के सदस्यों की निगरानी कर सकता है.


Read more:

क्या वाकई वह ‘आत्मा’ थी जिसे देखा तो नहीं गया पर महसूस किया गया

एक बच्चे का इमोशनल खत

और बस यूं ही पट जाएगा लड़का….

Read Comments

    Post a comment

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *

    CAPTCHA
    Refresh