विवाह एक लड़की के संसार में बहुत सारे बदलाव लाता है. विवाह के बाद लड़की अपने माता-पिता का घर छोड़ एक ऐसे संसार में जाती है जहां उसके लिए सब कुछ नया होता है. नए होते हैं वह लोग जिनके साथ उसे आगे की जिंदगी बितानी है और नए होते हैं वह रिश्ते जो उसके जीवन के सुख-दुःख में उसका साथ देंगे.
कहना बहुत सरल होता है लेकिन करना बहुत मुश्किल. इन सभी मुश्किलों के बीच लड़की की अपनी सास के साथ सामंजस्य बनाने में बड़ी मुश्किल होती है. तभी तो होती है सास और बहू के बीच साजिश.
एक सर्वेक्षण से यह पता चलता है कि सास और बहुओं में बहुत कम बनती है. सास के सवाल बहुओं को नहीं पसंद होते और बहुओं के काम सास को. दोनों एक-दूसरे से चिढ़ते भी हैं. बहुओं की सास द्वारा उनके परवरिश के तरीके पर उठाए गए सवाल पीड़ा देते हैं जबकि अगर बहू अपनी सास की सेवा नहीं करती है तो यह सास को बहुत खलता है.
एक निज़ी वेबसाइट के द्वारा 1000 महिलाओं पर कराए गए इस शोध के आंकड़ों के विश्लेषण से यह पता चलता है कि दस में से सात बहुओं का मानना है कि उन्हें ऐसी सास के साथ रहना पड़ता है जो उनके परवरिश की आलोचना करती हैं और उनकी परवरिश पर सवाल उठाती हैं. और यह बहुओं को कतई पसंद नहीं. इसके अलावा शादी के इतने समय होने के बाद भी उन्हें अपनी सास के बारे में समझने में मुश्किल होती है.
सर्वेक्षण में 23 प्रतिशत बहुओं ने सास द्वारा उनके रोजमर्रा के कामों में दखल देने की शिकायत की. 20 प्रतिशत बहुओं का मानना था कि वह अपने बेटो को अधिक प्यार देती है. जबकि 18 प्रतिशत बहुओं का यह भी कहना था कि सास अपने पोते-पोतियों को अधिक प्यार देती हैं जिसके कारण वह बिगड़ जाते हैं.
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