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महिलाएं पुरुषों की तुलना में अलग सोचती हैं

Lifestyle Blogsसदियों से यह बहस कायम रही है कि पुरुषों और महिलाओं के सोचने के तरीके में भिन्नता होती है. अब एक विज्ञान की समाचार साइट “लाइव साइंस” के द्वारा कराए गए एक शोध से पता चलता है कि वाकई महिलाएं पुरुषों की तुलना में अलग सोचती हैं.

आप भी जानिए उन दस बातों को जिसकी वजह से महिलाएं अलग सोचती हैं

1. मासिक चक्र के कारण एक महिला के मस्तिष्क और शरीर का हार्मोन स्तर महीने के हर दिन बदलता रहता है.

2. औरतों का अंतर्ज्ञान जैविक होता है अतः वह पुरुषों के मुकाबले लोगों को बेहतर ढंग से पढ़ सकती हैं.

3. संघर्ष के दौरान महिलाओं के दिमाग में रसायनों की बहुतायत हो जाती है जिसके कारण महिलाओं में दौरे की संभावना अधिक होती है. इसके अलावा संघर्ष औरत के दिमाग में नफरत पैदा करता है.

4. महिलाओं की भय, दर्द और चिंता के प्रति प्रतिक्रिया पुरुषों से अलग होती है. महिलाओं को अवसाद, अभिघातजन्य तनाव और अन्य दुश्चिंता विकार होने का खतरा अधिक रहता है.

5. महिलाओं का मस्तिष्क आक्रामकता से परे रहता है. खतरे के समय एक महिला का मस्तिष्क रणनीतिक तरीके से सोचता है.

Hindi Lifestyle Blog6. पुरुषों के मुकाबले महिलाओं की काम-क्रिया आसानी से विपर्यय हो जाती है.

7. गर्भावस्था के समय प्रोटेस्टरॉन हार्मोन महिला के दिमाग में आठ हफ्तों में 30 गुना तेज़ी से बढ़ता है, जिससे महिलाओं की बेहोश होने की संभावना अधिक हो जाती है.

8. मातृत्व का एहसास महिला में अनेको बदलाव लाता है. मां बनने के बाद एक महिला चाहती है कि उसको सभी संभावनाओं का पूर्वानुमान हो जाए.

9. महिलाओं में किशोरवस्था दो बार आती है. दूसरी किशोरवस्था की शुरुआत 43 की उम्र में शुरू होती है और यह 48 की उम्र तक रहती है. इस दौरान अनियमित चक्र और अनिद्रा के साथ-साथ महिला एक किशोर की भांति पागल और उत्तेजित हो जाती है.

10. बुढ़ापे के दौरान महिलाओं का मन जोखिम लेने तो तैयार रहता है. दूसरों की मदद करना उनको प्रेरणा प्रदान करता है.

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