Menu
blogid : 14564 postid : 38

कानून की नजर में सब एक हैं!

समाचार एजेंसी ऑफ इंडिया
समाचार एजेंसी ऑफ इंडिया
  • 611 Posts
  • 21 Comments

(लिमटी खरे)

भारत गणराज्य के गठन के साथ ही साथ देश की कानून व्यवस्था अस्तित्व में आई वह हमारी अपनी निजी थी। उसके पहले अंग्रेजों का कानून चलता था देश में। देश के अपने संविधान के निर्माण के साथ ही साथ कानून की नजर में राजा और रंक सभी को बराबरी का दर्जा दिया गया। सभी को कानून एक ही आंख से देखता है। आंख पर पट्टी बांधे हाथ में तराजू लिए एक महिला का पुतला ही कानून को प्रदर्शित करता है, इसके अनेक मायने हैं। हाल ही में रूपहले पर्दे के अदाकार संजय दत्त को माननीय न्यायालय ने सजा सुनाई है। संजय दत्त के चाहने वालों ने उनकी सजा माफी की मांग अनेक आधारों पर कर डाली है। सवाल यह है कि क्या एक अच्छे आदाकार के लिए कानून तोड़ने की छूट दी जा सकती है? संजू बाबा की हिमायत करने वालों को सोचना चाहिए कि न्यायालय द्वारा उन्हें जमानत देने के बाद उनका आचरण कैसा रहा? क्या संजय दत्त वाकई माफी के हकदार हैं?

संजू बाबा, डेडली दत्त, वालीवुड का बेड ब्वाय और ना जाने कितने नामों से जाना जाता है वालीवुड स्टार रहे सुनील दत्त और मशहूर अदाकारा नरगिस के पुत्र संजय दत्त को। नशे के आदी संजय दत्त को हथियारों का शौक इस खतरनाक मुकाम तक पहुंचा देगा यह बात उन्होंने सोची भी ना होगी। 07 मई 1981 को उनकी पहल फिल्म राकी रिलीज हुई और वे सुपर स्टार की रेस में आ गए।

रूपहले पर्दे के कारोबार में संजय दत्त को बिगडेल बच्चा भी कहा जाता है। संजय को जानने वालों के अनुसार संजय दत्त मां के काफी करीब थे और नरगिस की मौत ने उन्हें तोड़ दिया था। वे नशे के आदी हो गए थे। कहते हैं सुनील दत्त उनके नशे की आदत से काफी परेशान रहते थे और उन्हें इसके लिए दण्डित भी करते थे। संजय दत्त के बंदूक के शौक ने उन्हें कई बार मुसीबत में फंसाया।

बताते हैं एक बार घर में साईलेंसर वाली पिस्टल से गोलियां चला रहे थे, तभी उनके कर की नौकरानी इससे घायल हो गई। इस बात को मीडिया से छिपाने के लिए सुनील दत्त को खासी मशक्कत करनी पड़ी थी। नौकरानी को समझा बुझाकर पैसे देकर शांत करवा दिया गया था, वरना बखेड़ा खड़ा हो जाता।

संजय दत्त को 1993 के बम धमाकों के पहले कभी पुलिस ने नहीं धर दबोचा था। उनके जेल जाने और जमानत पर छूटने के बाद भी उनके आचरण में सुधार नहीं आया। लगभग डेढ़ दशक पहले फिल्म चोरी चोरी चुपके चुपके में अंडरवर्ल्ड के काले धन के मामले में संजय दत्त और छोटा शकील की बातचीस से साफ हुआ कि वे उस वक्त तक अपने आचरण में सुधार नहीं ला सके थे। मामले में आरोपी के आचरण चाल चलन को भी मद्देनजर रखा जाता है।

इस मामले में संजय दत्त के चहने वाले उनकी माफी की मांग कर रहे हैं। सबसे आश्चर्यजनक बात तो भारतीय प्रेस परिषद के अध्यक्ष सेवानिवृत जस्टिस मार्कंडेय काटजू की मांग है। उन्होंने महाराष्ट्र के महामहिम राज्यपाल के.शंकरनारायणन से संजय दत्त को माफी देने की वकालत की है। जस्टिस काटजू भले ही संजय दत्त के प्रशंसक हो सकते हैं पर इस मामले में माननीय न्यायालय ने संजय दत्त को दोषी पाया है। सुप्रीम कोर्ट के जज रह चुके काटजू ने कहा कि संविधान के अनुच्छेद 161 के तहत माफी देने का अधिकार न्यायिक शक्ति से अलग है, क्योंकि किसी को अदालत द्वारा न्यूनतम सजा सुनाए जाने के बावजूद राज्यपाल या राष्ट्रपति को यह अधिकार है कि वह दोषी की सजा माफ कर दें या सजा कम कर दें।

उल्लेखनीय है कि 1993 में हुए मुंबई ब्लास्ट के संबंध में आज संजय दत्त को सुप्रीम कोर्ट ने पांच साल कैद की सजा सुनाई है। टाडा के अंतर्गत उन्हें यह सजा अपने घर एके 56 राइफल जैसे खतरनाक हथियार रखने के आरोप में सुनाई गई है। अंतरराष्ट्रीय सिनेमा के इतिहास में आज यह पहली बार हुआ है जब किसी फिल्म स्टार को आतंकवाद को समर्थन देने के आरोप में जेल की हवा खानी पड़ेगी।

संजय दत्त के जेल जाने से ग्लेमर इंडस्ट्री का लगभग डेढ़ सौ करोड़ रूपए दांव पर लगा हुआ है। अभी तक संजय निर्माता टी. पी. अग्रवाल की ऐक्शन, थ्रिलर फिल्म पुलिसगिरी के आखिरी शूटिंग शेड्यूल में बिजी हैं। इस फिल्म की अस्सी फीसदी से ज्यादा शूटिंग पूरी हो चुकी है। करीब तीस करोड़ रुपये के बजट में बन रही इस फिल्म को निर्माता कंपनी इसी साल जून में रिलीज करने की प्लैनिंग कर रही थी। संजय दत्त की सजा बरकरार रहने रके बाद अब इसी तरह के बहुत सारे प्रॉजेक्ट्स का भविष्य अंधेरे में दिख रहा है।

इसके अलावा पिछले दिनों संजय ने डायरेक्टर राजकुमार हिरानी की मेगा बजट, मल्टिस्टारर फिल्म पी के की शूटिंग के पहले शेड्यूल को पूरा किया। राजस्थान की कई आउटडोर लोकेशन में इस फिल्म को शूट किया गया है। आमिर खान , अनुष्का शर्मा स्टारर इस फिल्म का बजट पैंसठ से सत्तर करोड़ रुपये के करीब आंका जा रहा है।

इसके साथ ही साथ सत्तर के दशक की सुपर हिट फिल्म जंजीर के रीमेक में संजय दत्त प्राण द्वारा निभाई भूमिका निभा रहे हैं। डायरेक्टर अपूर्व लाखिया की इस फिल्म की शूटिंग लगभग पूरी हो चुकी है, लेकिन डबिंग वगैरह का काम अभी कुछ बाकी है। प्रियंका चोपड़ा और रामचरण तेजा स्टारर इस फिल्म का बजट पैंतीस से चालीस करोड़ रुपये आंका जा रहा है। वहीं, लंबे अर्से से संजय दत्त की दो फिल्में फ्रॉड और चमेली की शूटिंग भी स्लो चलने की वजह से इन फिल्मों की बीस फीसदी से ज्यादा शूटिंग बाकी बची है। यानी आज संजय को लेकर ग्लैमर इंडस्ट्री का इतना बड़ा झटका लगा है, जो नब्बे के दशक में लगे झटके से कहीं ज्यादा है। संजय दत्त को साढ़े तीन साल की जेल की सजा होने से मुन्नाभाई का तीसरे भाग अब अधर में लटक गया है। फिल्म निर्देशक सुभाष कपूर का कहना है कि मुन्नाभाईश्रृंखला के अगले संस्करण की कल्पना अभिनेता संजय दत्त के बगैर नामुमकिन है।

भारत का कानून सबके लिए बराबर है। वह यह नहीं देखता है अपराध राजा ने किया है या रंक ने। संजय दत्त रूपहले पर्दे के सफल आदाकार हो सकते हैं, किन्तु उनकी इस योग्यता के आधार पर उन्हें कानून तोड़ने का अधिकार नहीं दिया जा सकता है। संजय दत्त ने अपराध किया है, माननीय न्यायालय में उनका अपराध साबित भी हो चुका है, उनका अपराध अगर माफी योग्य होता तो निश्चित तौर पर माननीय न्यायालय उन्हें माफ कर चुकी होती। अब संजय दत्त को माफ करवाने की अपील करना अथवा माफी दिलवाने की मुहिम चलाने का सीधा तातपर्य है कि हम अपराध करने वालों की तरफदारी कर अपराधों को बढ़ावा दे रहे हैं। (साई फीचर्स)

Read Comments

    Post a comment

    Leave a Reply