यूट्यूब पर अपलोड की गई एक वीडियो में गांव के कुछ बच्चे दिखाई देते हैं जो एक खुले मैदान में लगे ब्लैकबोर्ड के सामने बैठे हैं. उन्हें इंग्लिश में कुछ शब्द बोलना सिखाया जा रहा है जिसका मतलब यह है.
“एडॉल्फ हिटलर ने कुछ भी बुरा नहीं किया”
“नारीवाद कैंसर है”
यह तो बस शुरूआत है वीडियो में आगे बच्चों से और भी अश्लील बाते बुलवाई जाती हैं. जैसे-
“मैं समलैंगिक नहीं हूं लेकिन 20 डॉलर बहुत होते हैं”
“मुझे टॉयलेट सीट से ज्यादा *** मिलता है”
आगे की पंक्तियां इतनी अश्लील और अभद्र हैं कि यहां उनका जिक्र नहीं किया जा सकता. वीडियो में पैसे देकर 8 से 10 साल के भारतीय बच्चों को नश्लभेदी, नफरत से भरे और कामुक बाते बुलवाई जाती है.
Read: 11 साल के बच्चे ने आइंस्टीन और हॉकिंस को आईक्यू के मामले में पछाड़ दिया… पढ़िए कुदरत का एक और चमत्कार
यह वीडियो बनाने वाला एक ट्यूशन टीचर हे जो अपने विदेशी ग्राहकों से हर वीडियो के 5 रुपए ले रहा है. यह आरोप चेंज डॉट ओआरजी नाम की एक शओसल कैंपेनिंग वेबसाईट पर मुंबई की रहने वाली तेजस्वनी नाईक ने लगाया है.
तेजस्वीनी नाईक ने इस सोशल कैंपेनिंग साईट पर आरोप लगाते हुए लिखा है कि यह ट्यूशन टीचर न सिर्फ अपने क्लास में पढ़ने वाले बच्चों से अश्लील बाते बुलवाता है बल्कि उन्हें पैसे देकर कैमरे के सामने अर्धनग्न अवस्था में नचवाता भी है. इन बच्चों के नग्न शरीर पर अश्लील संदेश लिखे होते हैं.
नाईक का आरोप है कि भारतीय बच्चे विदेशों के कुछ सिरफिरे लोगों के मनरोजन के लिए बेचे जा रहें हैं. उन्होने यूट्यूब से गुहार लगाई है कि इन वीडियोज को हटाया जाए जिसे यूट्यूब ने यह कहकर इंकार कर दिया कि यह उनके कम्युनिटी गाईडलाईन का उल्लंघन नहीं करती. हालांकि बाद में यूट्यूब ने वीडियो अपलोड करने वाले विवादित अकाउंट को बंद कर दिया था लेकिन कुछ लोगो ने फिर से इन वीडियोज को यूट्यूब पर अपलोड कर दिया है. Next…
Read more:
Read Comments