Menu
blogid : 26149 postid : 1222

हनुमान जयंती : रामभक्त हनुमान को क्यों कहते हैं अजर-अमर, जानें किसने दिया था उन्हें यह वरदान

‘भूत पिशाच निकट न आवे महावीर जब नाम सुनावे’ बचपन में जब भी हमें डर लगता है हम हनुमान जी को याद कर लिया करते थे। आज भी ऐसा होता है कि संकटमोचन के रूप में भगवान हनुमान को याद किया जाता है। आज हनुमान जयंती है, ऐसे में पूरे देश में उनका जन्मदिन उत्सव की तरह मनाया जाता है। हम बहुत-सी पौराणिक कहानियां सुनते हैं जिसमें भगवान हनुमान को हर युग में रहने का प्रसंग मिलता है। कहते हैं वो एक अवतार हैं, जो जीवन-मृत्यु से परे अमर हैं। आइए, जानते हैं उन्हें क्यों कहते हैं अमर।

Pratima Jaiswal
Pratima Jaiswal19 Apr, 2019

 

 

शिव के 11 अवतारों में से एक है हनुमान
ग्रंथों में उल्लेहख मिलता है कि त्रेतायुग में जब भगवान श्रीराम का जन्मत हुआ तो एक दिन भोलेनाथ ने माता पार्वती से पृथ्वीेलोक पर अपने प्रभु श्रीराम के पास जाने की इच्छा‍ जाहिर की। इसके बाद माता ने उनसे कहा कि यदि शिव पृथ्वील पर चले गए तो मां भी उनके बिना नहीं रह पाएंगी। ऐसी स्थिति में शंभू ने माता पार्वती के विरह की बात पर विचारकर अपने 11 रूद्रों की कथा मां से कही और उन्हेंं बताया कि इन्हींव 11 रूद्रों में से एक हनुमान अवतार है जो कि वह लेने जा रहे हैं।

 

मां सीता ने दिया है भगवान हनुमान को अमरता का वरदान
वाल्मीकि रामायण के अनुसार लंका में बहुत ढूढ़ने के बाद भी जब माता सीता का पता नहीं चला तो हनुमानजी उन्हें मृत समझ बैठे। लेकिन फिर उन्हें भगवान श्रीराम का स्मरण हुआ और उन्होंने पुन: पूरी शक्ति से सीताजी की खोज प्रारंभ कर दी। इसके बाद वह मां से अशोक वाटिका में मिलते हैं। उस समय ही माता जानकी ने हनुमान को अमरता का वरदान दिया था। यही वजह है कि हर युग में हनुमान भगवान श्रीराम के भक्तों की रक्षा करते हैं। एक और उल्ले ख मिलता है हनुमान चालीसा की एक चौपाई में। जहां लिखा है- ‘अष्ट सिद्धि नौ निधि के दाता। अस बर दीन्ह जानकी माता। ’अर्थात ‘आपको माता श्री जानकी से ऐसा वरदान मिला हुआ है जिससे आप किसी को भी आठों सिद्धियां और नौ निधियां दे सकते हैं।

 

 

जब माता सीता के सामने रोने लगे हनुमान
वाल्मिकी रामायण में एक और प्रसंग है, इसके अनुसार जब हनुमान को स्मरण होता है कि भगवान राम का समय अब पृथ्वी पर पूरा हो गया है तो वो रोकर माता सीता से कहते हैं कि ‘आप वरदान वापस ले लीजिए, जब भगवान राम ही नहीं रहेंगे तो पृथ्वी पर मैं अकेला क्या करूंगा’ भगवान राम यह बात सुनकर हनुमान के सामने प्रकट होते हैं और कहते हैं कि ‘एक ऐसा समय आएगा जब कलियुग का बोलबाला होगा और हर तरफ पाप ही पाप होगा। ऐसे में तुम मेरे भक्तों और धर्म-कर्म पर भरोसा करने वाले लोगों को मार्ग दिखाना। तुम हमेशा ही मेरे भक्तों की रक्षा करोगे’…Next

 

Read More :

इस वजह से नजर आते थे रावण के 10 सिर, इन किताबों में लिखी है रावण से जुड़ी दिलचस्प बातें

शिव को इस कारण से धारण करना पड़ा नटराज रूप, स्कंदपुराण में वर्णित है इस अवतार की कहानी

कामेश्वर धाम जहां शिव के तीसरे नेत्र से भस्म हो गए थे कामदेव

Read Comments

    Post a comment

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *

    CAPTCHA
    Refresh