कोरोना के कारण मुसीबत झेल रही दुनिया आने वाले दिनों में गरीबी की मार से भी नहीं बच पाएगी। विश्वबैंक के मुताबिक कोरोना की वजह से कमजोर वर्ग के लोग गरीबी के निम्नतम स्तर पर पहुंच जाएंगे। लोगों की आय में बड़ी गिरावट के कारण भारत ही नहीं दुनियाभर में गरीबी के हालात पनपने की आशंका जताई जा रही है। विश्वबैंक के खुलासे से दुनियाभर के विशेषज्ञ चिंता में आ गए हैं।
वैश्विक अर्थव्यवस्था पटरी से उतरी
कोरोना महामारी के कारण दुनियाभर में लॉकडाउन के कारण करीब दो महीने तक सबकुछ ठप रहा है। इस वजह से वैश्विक अर्थव्यवस्था लड़खड़ाई हुई है। हाल के दिनों में कई देशों ने कुछ शर्तों के साथ लॉकडाउन में ढील देते हुए कारोबार की इजाजत दी है। लंबे समय तक कामकाज ठप रहने से लोगों की आमदनी में भारी गिरावट दर्ज की गई है।
6 करोड़ लोगों पर गरीबी तलवार
शिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार विश्वबैंक ने कहा है कि कोरोना की वजह से दुनियाभर के 6 करोड़ लोग गरीबी के निम्नतम स्तर पर पहुंचने वाले हैं। यह महामारी कमजोर वर्ग को और भी गरीब बना देगी। विकासशील देशों के हालात खराब होने की आशंका ज्यादा जताई गई है।
विकासशील देशों में गरीबी सबसे नीचे जाएगी
विश्वबैंक ग्रुप के अध्यक्ष डेविड मालपास ने कहा है कि कोरोना महामारी के कारण दुनियाभर के विकासशील देशों की अर्थव्यवस्था पटरी से उतर गई है। इन देशों के करीब 6 करोड़ लोग गरीबी की मार झेलने को मजबूर हो जाएंगे। उन्होंने आशंका जताई है कि ये लोग गरीबी के निम्नतम स्तर पर पहुंच सकते हैं।
विश्वबैंक मदद के लिए चलाएगा ड्राइव
डेविड मालपास ने कहा है कि यह पहली बार है जब गरीबी दूर होने की बजाय बढ़ने की आशंका पैदा हो गई है। उन्होंने कहा कि विकासशील देशों को मजबूत बनाने के लिए विश्वबैंक ड्राइव चलाएगा। इससे गरीबी को दूर करने में इन देशों की मदद की जा सके।…NEXT
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