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जीने का आधार -प्रेम

DIL KI KALAM SE
DIL KI KALAM SE
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सबका अस्तिव और अहसास
हृदय में जगाता
श्रद्धा, आशा और विश्वास
मीठे स्वर का पान कर
स्वर्ग ले आता भू धरा पर

बिना शर्त के बिना नियम के
संचालित कर हर डगर को
सुब्द्ता से मुक्त कर
मार्ग देता सुगम बना
अंतर्मनो को जोड़ने का
प्रेम करता है प्रयास

मित्र को शत्रु, शत्रु को मित्र
गैर को अपना, अपने को गैर
फूल माला सी डोर बना
राग, द्वेष और ईर्ष्या से
हमको देता प्रेम छुड़ा

हर क्षेम से मुक्ति दे
शांति का दे पाठ पढ़ा
निश्छल प्रेम से हमे मिला
मोक्ष का देता मार्ग दिखा
हर मर्ज की दवा बन
जीना हमको दे सिखा

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