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Rahul Gandhi – युवाओं के बीच लोकप्रिय कांग्रेस महासचिव राहुल गांधी

rahul gandhiराहुल गांधी का जीवन परिचय

पूर्व भारतीय प्रधानमंत्री स्वर्गीय राजीव गांधी के पुत्र और इन्दिरा गांधी के पौत्र, राहुल गांधी का जन्म 19 जून, 1970 को दिल्ली में हुआ था. इनकी माता सोनिया गांधी वर्तमान भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस और गठबंधन दल यूपीए की अध्यक्षा हैं. राहुल गांधी की प्रारंभिक शिक्षा दिल्ली के सेंट कोलम्बस स्कूल और बाद में देहरादून के प्रसिद्ध दून स्कूल में हुई थी. इन्दिरा गांधी की हत्या के पश्चात जब 1984 में दंगे हुए तो ऐसे हालातों में सुरक्षा के मद्देनजर कुछ समय के लिए राहुल गांधी और उनकी छोटी बहन प्रियंका गांधी की शिक्षा का सारा इंतजाम घर पर ही किया गया. वर्ष 1989 में राहुल गांधी ने दिल्ली विश्वविद्यालय के प्रसिद्ध सेंट स्टीफन कॉलेज में दाखिला लिया लेकिन प्रथम वर्ष की परीक्षा देने के बाद वह हार्वर्ड यूनिवर्सिटी चले गए. लेकिन वह यहां भी ज्यादा समय तक पढ़ नहीं पाए. 1991 में राजीव गांधी की हत्या के पश्चात सुरक्षा कारणों की वजह से राहुल गांधी फ्लोरिडा यूनिवर्सिटी के रोलिंस कॉलेज चले गए. वहां वह छद्म नाम राउल विंसी के साथ रहे. सिर्फ यूनिवर्सिटी प्रशासन और सुरक्षा अधिकारियों को उनके असली नाम की जानकारी थी. स्नातक की परीक्षा उत्तीर्ण करने के बाद वह लंदन में ही एक प्रशासनिक फर्म के साथ जुड़ गए. सरकारी कागजातों के हिसाब से राहुल गांधी ने ट्रिनिटी कॉलेज, कैंब्रिज यूनिवर्सिटी से विकास अध्ययन के क्षेत्र में एम.फिल की उपाधि प्राप्त की है. लेकिन इनके अकादमिक रिकॉर्ड्स की मानें तो राहुल गांधी एक भी परीक्षा में सफलता प्राप्त नहीं कर सके थे. वर्ष 2002 में राहुल गांधी मुंबई स्थित एक प्रौद्योगिकी आउटसोर्सिंग फर्म के निदेशक भी रह चुके हैं.


राहुल गांधी का व्यक्तित्व

स्वतंत्र भारतीय राजनीति के जनक माने जाने वाले गांधी-नेहरू परिवार से संबंधित होने के कारण राहुल गांधी का सारा जीवन राजनीति के दांव-पेचों को देखते हुए ही बीता है. जिसके परिणामस्वरूप राहुल गांधी का राजनैतिक व्यक्तित्व बहुत अधिक परिष्कृत हो गया है. कांग्रेस के युवा नेता होने के कारण राहुल गांधी खुले विचारों और प्रगतिशील मानसिकता वाले व्यक्ति हैं. वह एक समझदार और जुझारू नेता हैं. व्यक्तिगत तौर पर आम व्यक्तियों की तरह राहुल गांधी को भी घूमने-फिरने और विभिन्न खेलों को देखने और खेलने का शौक है.


राहुल गांधी का राजनैतिक सफर

वर्ष 2003 में जब राहुल गांधी अपनी मां सोनिया गांधी और प्रियंका गांधी के साथ चौदह वर्ष बाद पाकिस्तान में हुए भारत-पाकिस्तान क्रिकेट मैच देखने गए, तब यह कयास लगने शुरू हो गए कि निःसंदेह राहुल गांधी राजनीति में कदम रखने वाले हैं. लेकिन राहुल गांधी ने इस बात की कोई पुष्टि नहीं की. वर्ष 2004 में जब प्रियंका और राहुल अपने पिता के पूर्व और माता के तत्कालीन निर्वाचन क्षेत्र अमेठी के दौरे पर गए तो यह अफवाहें और बढ़ गईं कि दोनों भाई-बहन राजनीति में प्रदार्पण करने वाले हैं. लेकिन इस समय भी ना तो राहुल ने इस पर प्रतिक्रिया दी और ना ही कांग्रेस के किसी अन्य बड़े सदस्य ने. लेकिन 2004 में ही राहुल गांधी ने यह घोषणा कर दी कि वह मई 2004 के चुनावों में पिता के पूर्व निर्वाचन क्षेत्र अमेठी से ही चुनाव लड़ेंगे. इस समय कांग्रेस की स्थिति उत्तर-प्रदेश में अच्छी नहीं थी. 80 सीटों में से कुल 10 सीटें ही कांग्रेस के पास थीं. राहुल गांधी का यह कदम निःसंदेह कांग्रेस  विरोधियों और उन लोगों के लिए हैरान करने वाला था जो यह अनुमान लगाए बैठे थे कि प्रियंका गांधी के राजनीति में आने की संभावना बहुत अधिक है बजाए राहुल गांधी के. मई 2004 के चुनावों में जीतकर राहुल गांधी चौदहवीं लोकसभा के सदस्य बने. रायबरेली निर्वाचन क्षेत्र में जब दोबारा चुनाव हुए तो मां सोनिया गांधी को विजयी बनाने के लिए राहुल गांधी और प्रियंका गांधी ने बहुत बड़े पैमाने पर वहां प्रचार किया. परिणामस्वरूप सोनिया गांधी भारी अंतर से वह सीट जीत गईं. लेकिन 2007 के चुनावों में कांग्रेस अपेक्षित परिणाम हासिल नहीं कर पाई और बहुजन समाज पार्टी को बहुमत प्राप्त हुआ. राहुल गांधी को पार्टी सचिवालय के एक फेरबदल में 24 सितंबर, 2007 को अखिल भारतीय कांग्रेस समिति का सामान्य सचिव नियुक्त किया गया साथ ही भारतीय युवा कांग्रेस और विद्यार्थी संघ, नेशनल स्टूडेंट्स यूनियन ऑफ इंडिया (NSUI) के प्रभारी पद का भी भार सौंपा गया. वर्ष 2009 में हुए चुनावों में राहुल गांधी पुन: अमेठी सीट पर जीत गए.


राहुल गांधी से जुड़े विवाद

राजनीति के युवा चेहरे राहुल गांधी के साथ भी कई गंभीर आरोप जुड़े हुए हैं.

  • एक निजी चैनल में इंटरव्यू देने के दौरान राहुल गांधी ने राष्ट्रीय स्वयं सेवक दल जैसे हिंदूवादी संगठन को सिमी जैसे आतंकी संगठन के समान कहा था. ऐसा बयान देने पर आरएसएस और कांग्रेस  में दरार पैदा हो गई थी.

  • वर्ष 2006 में अमेठी में प्रचार के दौरान अपने कुछ साथियों के साथ मिलकर कांग्रेस कार्यकर्ता की बेटी सुकन्या देवी का बलात्कार करने जैसा संगीन आरोप भी राहुल गांधी पर लगा.

  • हाल ही में मुंबई धमाकों के बाद प्रेस के सामने राहुल गांधी ने कह दिया कि हर हमले को रोका जाना संभव नहीं है. किसी जिम्मेदार जन नेता का ऐसा बयान निःसंदेह विवाद पैदा करने वाला था.

गांधी-नेहरू परिवार की चौथी पीढ़ी से संबंधित राहुल गांधी युवा कांग्रेस  का एक महत्वपूर्ण चेहरा हैं. राजनीति में उनकी रुचि होनी स्वाभाविक ही है. इसके अलावा उन्हें विभिन्न जगहों पर घूमना और तैराकी करना भी बहुत पसंद है. वह राजीव गांधी फाउंडेशन, संजय गांधी मेमोरियल ट्रस्ट, राजीव गांधी चैरिटेबल ट्रस्ट, जवाहर लाल नेहरू मेमोरियल फंड से भी जुड़े हुए हैं.


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