प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना वायरस को हराने में जुटे लोगों को बधाई देते हुए उनके असीमित योगदान की सराहना की है। उन्होंने स्वाथ्य कर्मियों के प्रोत्साहन में कई बाते कहीं हैं। प्रधानमंत्री मोदी ने सोमवार को केंद्र सरकार के दूसरे साल में प्रवेश करने के मौके पर कैबिनेट की बैठक की और कर्नाटक के राजीव गांधी स्वास्थ्य विज्ञान विश्वविद्यालय के रजत जयंती समारोह का उद्घाटन किया।
लॉकडाउन 5 के नियम राज्य सरकारें तय करेंगी
कोरोना महामारी से जूझ रहे लोगों के लिए सरकार ने लॉकडाउन में छूट दे दी है। लॉकडाउन का पांचवां चरण एक जून से लागू हो चुका है। इसे अनलॉक 1 का नाम भी दिया जा रहा है। इस दौरान नियमों में ढील देते हुए केंद्र सरकार ने सारे नियम कायदे राज्य सरकारों पर छोड़ दिए हैं। राज्य सरकारें चाहें तो नियम सख्त कर सकती हैं या ढील दे सकती हैं।
नियमों में कई तरह की छूट दी गई
लॉकडाउन के पांचवें चरण में एक राज्य से दूसरे राज्य जाने के लिए ईपास की आवश्यकता को खत्म कर दिया गया है। इसके अलावा आने वाले दिनों में चरणबद्ध तरीके से धार्मिक स्थल, शॉपिंग मॉल्स, रेस्टोरेंट समेत कई अन्य कारोबार खोलने की छूट दी गई है। हालांकि, हॉटस्पॉट और कैंटोनमेंट जोन में पहले की तरह ही नियम सख्त रहेंगे।
पीएम ने कोरोना के हालात पर की चर्चा
एएनआई के मुताबिक लॉकडाउन पांच के सारे नियम कायदे एक जून से लागू हो रहे हैं। इस दोरान सोमवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने केंद्र सरकार के दूसरे साल में प्रवेश करने के मौके पर पहली कैबिनेट की बैठक की। पीएम मोदी ने कर्नाटक के राजीव गांधी स्वास्थ्य विज्ञान विश्वविद्यालय के रजत जयंती समारोह का उद्घाटन भी किया। इस दौरान पीएम मोदी ने कोरोना महामारी को लेकर कैबिनेट से चर्चा की।
चिकित्सा कर्मचारी बिना वर्दी के सैनिक
एएनआई के अनुसार प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि COVID-19 के खिलाफ भारत की इस लड़ाई के पीछे चिकित्सा समुदाय और हमारे कोरोना योद्धाओं की कड़ी मेहनत है। वास्तव में डॉक्टर और चिकित्सा कर्मचारी सैनिक ही हैं वो भी बिना किसी सैनिक की वर्दी के। बता दें कि स्वास्थ्यकर्मियों ने कड़ी मेहनत से 91819 हजार कोरोना मरीजों को ठीक करने कामयाबी हासिल की है।
22 एम्स की स्थापना
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वास्थ्य सेवाओं की दिशा में किए जा रहे सरकार के कार्यों का जिक्र करते हुए कहा कि देश ने 22 और AIIMS की स्थापना में तेजी से प्रगति देखी है। पिछले पांच वर्षों में हम MBBS में 30,000 से अधिक और स्नातकोत्तर में 15,000 सीटों को जोड़ने में सक्षम हुए हैं।…NEXT
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