जीवन क्या है? अगर हम किसी से पूछे कि जीवन का क्या अर्थ तो जीवन के सभी के मायने अलग-अलग हैं लेकिन मोक्ष का एक अर्थ है जीवन-मृत्यु के चक्र से मुक्ति. आध्यात्मिक दृष्टिकोण से सोचा जाए, तो हम सभी का जन्म अपने पूर्वजन्म भोगने के लिए हुआ है. संसार में जिस भी व्यक्ति को मोक्ष की अवधारणा का ज्ञान है, वो व्यक्ति जीवन-मृत्यु के चक्र से निकलना चाहता है, लेकिन फिर भी हम इतनी आसानी से जीवन-मृत्यु के पाश से नहीं निकल सकते. नारदपुराण में महर्षि नारद ने ऐसे मनुष्यों का उल्लेख किया है जिनका जन्म दुबारा नहीं होता और वो जीवन-मृत्यु के बधंन से स्वतंत्र हो जाते हैं.
ये उपाय करने से मनुष्य को होती है मोक्ष की प्राप्ति
एकादशी के दिन जो व्यक्ति सुगंधित फूलों से भगवान विष्णु की पूजा करता है वह दस हजार जन्मों के पापों से मुक्त हो जाता है. घी का दीपक भगवान शिव और विष्णु के समक्ष जलाने से गंगा स्नान का पुण्य प्राप्त होता है.
भगवान विष्णु को नियमित तुलसी का पत्ता अर्पित करने वाला भगवान विष्णु के लोक में निवास करता है.
सूर्य के पुष्य नक्षत्र में होने पर, गुरुवार के दिन हस्त नक्षत्र होने पर या बुधवार के दिन अष्टमी तिथि होने पर भगवान शिव का दूध से अभिषेक करने वाला मृत्यु के बाद शिवलोक में जाता है. जो व्यक्ति गाय की सेवा करते हैं और पराई स्त्रियों से दूर रहते हैं वह भगवान विष्णु की कृपा से बैकुंठ लोक में जाते हैं और जन्म मृत्यु के चक्र से मुक्त हो जाते हैं.
जो व्यक्ति भगवान विष्णु की पूजा और ध्यान करता है उसकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं और वह परलोक में जाकर भगवान विष्णु के धाम में विराजता है. मंदिर में नृत्य और गान करने वाले श्रद्धालु रुद्र लोक में जाकर मोक्ष को प्राप्त कर लेते हैं…Next
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