Menu
blogid : 316 postid : 836290

मरने पर बच्चे और महिलाओं की उंगलियां काटकर दी जाती है श्रद्धांजलि

हर समाज को अपनी परंपराओं पर नाज होता है, पर कुछ परंपराएं ऐसी होती हैं जो उस समाज पर एक धब्बे सरीखी होतीं हैं. कभी-कभी परंपराओं के नाम पर ऐसी कुप्रथा प्रचलित हो जाती हैं जिन्हें अमानवीय कहने पर भी उनकी भयावहता का एहसास नहीं होता. ऐसी ही एक परंपरा है पापुआ न्यू गिनिया में रहने वाली डेनी प्रजाति की परंपरा जो न सिर्फ भयावह है बल्कि इंसानियत को शर्मसार कर देने वाली प्रथा है.


prt 1


इस प्रथा के तहत परिवार के मुखिया की मौत हो जाने पर उसके परिवार से संबंधित सभी महिलाओं और बच्चों की उंगलियां कुल्हाड़ी से काट दी जाती है. अब अगर आप महिलाओं और बच्चों की उंगलियां काटने के पीछे का तर्क सुनेंगे तो और भी हैरान हो जाएंगे.


Read: भारतीय समाज में दहेज प्रथा का इतिहास


इस प्रजाति के लोगों का मानना है कि बच्चों और महिलाओं की उंगलियां काटने से मृत्यु को प्राप्त हुए मुखिया की आत्मा को शांति मिलती है. अपनी उंगलियां कटवाने का एक मकसद मरे हुए मुखिया के उस कष्ट में भागीदार बनना भी है जो उसने मरते समय उठाया था. जब पहली बार डेनी प्रजाती के इतने सारे लोगों को कटी हुई उंगलियों वाले हाथों के साथ देखते हैं तो ऐसा लगता है कि किसी गंभीर बीमारी के कारण इन लोगों की उंगलियां कट गई हैं, पर जब इस भयावह प्रथा के बारे में पता चलता है तो रूह कांप जाती है.


prt 2


हालांकि न्यू गिनीया सरकार ने इस प्रथा पर पूर्ण रूप से प्रतिबंध लगा दिया है लेकिन अभी इस प्रथा के शिकार हुए सैंकड़ों लोगों को यहां देखा जा सकता है जिनके हाथों की उंगलियां कटी हुई हैं. न्यू गिनीया सरकार ने इस प्रथा पर प्रतिबंध इस तर्क के आधार पर लगाया है कि यह अमानवीय है…..Next


Read more:

नदियों को जोड़ने के लाभ-हानि

कण-कण में हरि का वास है, अफ्रीका में मिले 6000 साल पुराने इस शिवलिंग को देख विश्वास हो जाएगा आपको

अफ्रीकी देशों में नई दहशत, मर कर जिंदा हो रहें हैं इबोला के मरीज

Read Comments

    Post a comment

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *

    CAPTCHA
    Refresh