झारखंड के पलामू में भूत मेला बंद कराने पहुंची पुलिस ने आम लोगों पर फायरिंग कर दी जिसमें एक व्यक्ति की मौत हो गई. पुलिस फायरिंग में कई लोग घायल भी हो गए हैं. इस झड़प में पांच पुलिसकर्मी भी घायल हो गए हैं. गौरतलब है कि झारखंड में कई स्थानों पर नवरात्र के समय भूतों के मेले सजते हैं. पुलिस पलामू के नौडिहा बाजार इलाके में ऐसे ही एक मेले को बंद कराने आई थी.
न सिर्फ झारखंड बल्कि बिहार के भी कई ईलाकों में भी भूत भगाने के नाम पर आस्था और अंधविश्वास का यह बाजार सजता है. आज के वैज्ञानिक युग में इस तरह के मेले को एक अंधविश्वास के सिवा और कुछ नहीं कहा जा सकता लेकिन इन इलाकों में भूत भगाने के नाम पर लाखों का व्यापार चलता है. झारखंड के पलामू जिले के हैदरनगर में, बिहार के कैमूर जिले के हरसुब्रह्म स्थान पर और औरंगाबद के महुआधाम स्थान पर भूतों के मेले में सैकड़ों लोग नवरात्र के मौके पर भूत-प्रेत की बाधा से मुक्ति के लिए पहुंचते हैं.
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आम बोलचाल में लोग इन मेलों को भूत मेला ही कहते हैं. ऐसे तो साल भर इन स्थानों पर श्रद्धालु भूत-प्रेत भगाने आते हैं, लेकिन नवरात्र के मौके पर प्रेतबाधा से मुक्ति के लिए प्रतिदन यहां सैकड़ों की तदाद में लोग पहुंचते हैं. यहां उत्तर प्रदेश, झारखंड, बिहार, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ के लोग पहुंचते रहते हैं. पलामू के हैदरनगर में सालाना भूत मेला लगता है. यह मेला यहां स्थित देवी मां के मंदिर के 2 किमी परिधि में लगता है.
इस मेले में शामिल होने वाले ओझाओं का दावा है कि वे लोगों के शरीर से भूत को उतारकर कुछ दूरी पर स्थित पीपल के पेड़ में कील के सहारे बांध देते हैं. ओझा महिलाओं के बाल पकड़कर उनके शरीर से भूत भगाने का उपक्रम करते देखे जा सकते हैं. कई महिलाएं झूम रही होती हैं तो कई इधर उधर भाग रही होती हैं. ओझा इन्हें पकड़-पकडकर बिठाते हैं.. Next…
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