Menu
blogid : 316 postid : 1390806

ई-कॉमर्स कंपनी क्यों करती हैं गलत सामान की डिलीवरी, जानें ऑनलाइन ऑर्डर की आप तक पहुंचने तक की प्रक्रिया

आपने ऐसी कई खबरें सुनी होगी, जिसमें अमेजॉन कस्टमर के पास गलत सामान भेज देता है। ऐसे में आप गलत सामान को वापस तो कर देते हैं लेकिन आपके मन में सवाल उठता है कि आखिर इतनी बड़ी कंपनी ऐसी गलती कैसे कर सकती है। कुछ महीनों पहले अभिनेत्री सोनाक्षी सिन्हा ने अमेजन से 18 हजार की कीमत वाला बोस का एक हेडफोन ऑर्डर किया था। उनके ऑर्डर की डिलीवरी तो हुई लेकिन हेडफोन के बॉक्स में 18 हजार का बोस का हेडफोन होने के बजाय लोहे का एक टुकड़ा निकला। जिसके बाद सोनाक्षी ने बड़े मजाकिया अंदाज में एक ट्वीट करके अमेजन को इस गलत डिलीवरी की जानकारी दी थी।

Pratima Jaiswal
Pratima Jaiswal21 May, 2019

 

 

ट्वीट को गंभीरता से लेते हुए अमेजन इंडिया के प्रवक्ता की ओर से जारी एक बयान में कहा गया था कि ‘जैसा कि हम उपभोक्ताओं का ध्यान रखने वाली कंपनी हैं, ऐसे में हम अपने ग्राहक के सामान को सुरक्षित पहुंचाने के लिए पूरी तरह ज़िम्मेदार हैं। हम इस मामले की पूरी जांच कर रहे हैं। हमने उपभोक्ता से इस मामले को सुलझा लिया है और उनको हुई असुविधा के लिए खेद भी जताया है।’
साथ ही उन्होंने सामान की डिलीवरी से जुड़ी जानकारी भी साझा की।

 

 

कैसे पहुंचता है हमारा ऑर्डर
दुनिया के बड़े ऑनलाइन रीटेलर्स में से एक अमेजन रोजाना लाखों पैकेट दुनिया के अलग-अलग हिस्से में पहुंचाता है।जब हम कोई चीज ऑनलाइन ऑर्डर करते हैं तो सबसे पहले सॉफ्टवेयर यह पता लगाता है कि वह चीज कहां रखी हुई है। यह सॉफ्टवेयर किसी कर्मचारी को बताता है कि वो चीज कहां रखी है।
वो कर्मचारी वेयरहाउस के उस शेल्फ तक पहुँचता है, पैकेट उठाता है, फिर हाथ में उठाए स्कैनर से स्कैन करता है। स्कैनर तय करता है कि वो सही पैकेट है, उस पर पता सही है या नहीं, और फिर उस पर ग्राहक का नाम, पते की पर्ची चिपका देता है।जिसके बाद इस सामान को डिलीवर कर दिया जाता है।

 

 

कैसे हो जाती है धांधली
जब ये सारा काम इतने सिस्टमैटिक तरीके से होता है तो गलती होने की गुंजाइश कहां है? इस पर ई-कॉमर्स और साइबर मामलों के जानकारों का कहना है कि अगर आपने सामान अच्छी ई-कॉमर्स वेबसाइट से खरीदे हैं तो कंपनी के स्तर पर गड़बड़ी होने की गुंजाइश बहुत कम होती है।
लेकिन अमूमन लोग ‘सेलर्स’ पर ध्यान नहीं देते। सेलर्स की रेटिंग इस तरह की धांधलियों के लिए खासतौर पर जिम्मेदार होती है। इसके अलावा कई बार डिलीवरी ब्वॉय भी सही सामान निकालकर कुछ भी भर देते हैं।

 

 

 

ऑनलाइन शॉपिंग के समय रखें सावधानी
ऑनलाइन शॉपिंग के लिए सबसे पहले तो ये ध्यान रखें कि जिस भी ई-शॉपिंग वेबसाइट से आप खरीदारी करें उसके एड्रेस में http नहीं, बल्कि https हो।

‘S’ जुड़ जाने के बाद सिक्योरिटी की गारंटी हो जाती है और वो फेक साइट नहीं होगी। कभी-कभी ‘S’ वेबसाइट में तब जुड़ता है जब ऑनलाइन पेमेंट का समय आता है।

फिर ये चेक करें कि जहां से सामान ख़रीदा जा रहा है, उसका पता, फ़ोन नंबर और ई-मेल एड्रेस वेबसाइट पर लिखा है या नहीं। धोखा करने वाली वेबसाइट्स अपने पेज पर ये जानकारी शेयर नहीं करती हैं…Next

 

Read More :

नवरात्रि में रख रहे हैं व्रत तो इन चीजों को खाने नहीं होगी कमजोरी, ऐसे रखें बॉडी को हेल्दी

महिलाएं तनाव की सबसे ज्यादा शिकार लेकिन आत्महत्या करने में पुरूष आगे, डिप्रेशन से ऐसे निपटें

2,874 बाल आश्रय गृहों में से सिर्फ 54 के मिले पॉजिटिव रिव्यू, NCPCR की रिपोर्ट सामने आई ये बातें

Read Comments

    Post a comment

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *

    CAPTCHA
    Refresh